गोरखपुर : गोरखपुर में ज्वाइंट एंट्रेंस एग्जामिनेशन (जेईई-मेन) में असफल होने पर इंटर की छात्रा अदिति मिश्रा (18) ने आत्महत्या कर ली। बुधवार दोपहर करीब 12 बजे बेतियाहाता स्थित गर्ल्स हॉस्टल के कमरे में उसने पंखे से फंदा लगाकर जान दे दी। मौके पर एक सुसाइड नोट मिला, जिसमें उसने असफलता के कारण आत्महत्या करने की बात लिखी। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
अदिति मिश्रा संतकबीरनगर जिले के मेंहदावल स्थित मिश्रौलिया गांव की निवासी थी। उसके पिता अजय मिश्रा मेंहदावल प्राथमिक विद्यालय में शिक्षक हैं। अदिति दो साल से गोरखपुर के बेतियाहाता स्थित गर्ल्स हॉस्टल में रहकर कोचिंग सेंटर से जेईई की तैयारी कर रही थी।
कमरे में रहने वाली दूसरी छात्रा का बयान
अदिति के साथ उसके कमरे में गोला क्षेत्र की एक छात्रा भी रहती थी, जो शहर के एक कॉलेज से बीए की पढ़ाई कर रही है। उसने बताया कि सुबह अदिति से बातचीत हुई थी और वह सामान्य लग रही थी। दोपहर 12:05 बजे जब वह बाजार से लौटी तो दरवाजा अंदर से बंद मिला। आवाज देने और खटखटाने पर कोई जवाब नहीं मिला, तो उसने हॉस्टल के कर्मचारियों को सूचना दी।
परिजनों की प्रतिक्रिया
घटना के कुछ देर बाद अदिति की मौसी कल्पना और मौसा सूर्यनाथ मिश्रा हॉस्टल पहुंचे। मौसी ने बताया कि मंगलवार को जेईई-मेन का रिजल्ट आने के बाद अदिति से उनकी बात हुई थी। अदिति ने कहा था कि असफलता के बावजूद वह आगे आईएएस की तैयारी करेगी।
पिता अजय मिश्रा अपनी बेटी के शव के पास बैठकर रो रहे थे। जब पुलिस पहुंची, तो उन्होंने हाथ जोड़कर निवेदन किया कि उनकी बेटी का पोस्टमार्टम न कराया जाए। उन्होंने कहा कि उन्होंने अपनी बेटी को बड़े प्यार से पाला और उसे कभी किसी परेशानी में नहीं डाला। हालांकि, पुलिस और रिश्तेदारों के समझाने पर वे पोस्टमार्टम के लिए तैयार हुए।
हॉस्टल का माहौल
अदिति बेतियाहाता स्थित गर्ल्स हॉस्टल के कमरा नंबर 86 में रहती थी। हॉस्टल में कुल 12-13 कमरे हैं, जहां करीब 25 छात्राएं प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रही हैं। अदिति की मौत से हॉस्टल की छात्राएं स्तब्ध थीं और रो रही थीं।
हॉस्टल की अन्य छात्राओं के अनुसार, अदिति बहुत कम लोगों से बातचीत करती थी और ज्यादातर अपने में खोई रहती थी। यहां तक कि अपने साथ कमरे में रहने वाली छात्रा से भी वह कम बात करती थी। वह दो दिन पहले ही अपने घर मेंहदावल से हॉस्टल वापस आई थी।